Dil Ye Humne Sanware Tujhko Diya Dil Ko Dekar Darad Ye Kaisa Liya
दिल ये हमने साँवरे तुझको दिया दिल को देकर दर्द ये कैसा लिया
तर्ज – दिल के अरमां आँसूओं में बह गये
दिल ये हमने साँवरे, तुझको दिया,
दिल को देकर दर्द ये, कैसा लिया ।।
ये ना सोचा, क्या नफा-नुकसान है,
इन हिसाबों का, हमें ना ज्ञान है,
बिन विचारे प्रेम का सौदा किया ।
दिल को देकर दर्द ये, कैसा लिया ।।
कुछ भी अब तो, जोर ना दिल पर रहा,
ये तो हाथों का, खिलौना है तेरा,
खेलते हो श्याम तेरा शुक्रिया ।
दिल को देकर दर्द ये, कैसा लिया ।।
ले उड़े तुम, दिल हमारा साँवरे,
तुझको ढूँढें, हर गली और गाँव मे,
खोजते फिरते हैं हम अपना पिया ।
दिल को देकर दर्द ये, कैसा लिया ।।
दिल हमें वापस, ना तुम से चाहिये,
दिल दिया है, जान भी ले जाइये,
मुख से कहदे ‘बिन्नू’ को अपना लिया ।
दिल को देकर दर्द ये, कैसा लिया ।।
श्री बिनोद कुमार जी गाडोदिया ‘बिन्नू’ जी द्वारा ‘दिल के अरमां आँसूओं में बह गये’ गीत की तर्ज़ पर रचित अनुपम रचना ।
।। श्री श्याम आशीर्वाद ।।
।। श्याम श्याम तो मैं रटू , श्याम ही जीवन प्राण ।।
।। श्याम भक्त जग में बड़े उनको करू प्रणाम ।।
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