Paglyan Ri Payaladi Baje Hatha Ro Chudlo Kanhiya Yamuna Me Dar Lage Re Bhar Lade Ghadlo
पगल्या री पायलडी भीजे हाथां रो चुड़लो कन्हिया यमुना में डर लागे रे भर लयादे घड़लो
पगल्या री पायलडी भीजे , हाथां रो चुड़लो
कन्हिया यमुना में डर लागे रे ,भर लयादे घड़लो।।
दयोराणी जिठाणी म्हारी , पिहरिये गई
म्हारे घर आये सांवरिया तन्ने , घलूंगी दही।।
सासु जी ने सुणे कोनी , ननदुली भोली
तड़के आये रे सांवरिया म्हारी , सामळी पोळी।।
आज तो मैं आई कान्हा , सखियां मेले में
ओज्यूँ मिलसा रे नंदलाला आपां , खाटू के मेले में।।
घड़लो भर दे सिर पर धर दे , म्हाने होवे उवार
नैया डगमग डोले मोहन की थे , करियो परली पार।।