Bekar Ki Chinta Hai Bekar Hi Rota Hai Jab Tak Hai Daya Iski Tu Chain Se Sota Hai
बेकार की चिन्ता है बेकार ही रोता है जब तक है दया इसकी तूँ चैन से सोता है
तर्ज – इक प्यार का नगमा है
|| दोहा ||
खाटू वालो साँवराे, दया सिन्धु भगवान ।
काज सँवारे दास का, सदा करे कल्याण ।।
बेकार की चिन्ता है, बेकार ही रोता है
जब तक है दया इसकी, तूँ चैन से सोता है ।। टेर ।।
जीवन ये तेरा प्यारे, तिनकों का घराैंदा है
तूपफां के थपेड़ों ने, इसे रह रह रोंदा है
उस वक्त दयालु ये, तेरे पास ही होता है ।। û ।।
तुमसा बडभागी कहाँ, तुझे श्याम सहारा है
पल में दौड़ा आया, इसे जब भी पुकारा है
रक्षक बन करके तेरा, ये पहरा देता है ।। ü ।।
ये कैसा बन्धन है, कैसा ये नाता है
हारे हुए सेवक का, ये साथ निभाता है
चुटकी में ‘हर्ष’ तेरे, संकट हर लेता है ।। ý ।।
।। श्री श्याम आशीर्वाद ।।
।। श्याम श्याम तो मैं रटू , श्याम ही जीवन प्राण ।।
।। श्याम भक्त जग में बड़े उनको करू प्रणाम ।।
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